रायपुर-दंतेवाड़ा विधानसभा में इस बार चुनाव दिलचस्प होने जा रहा है। कांग्रेस और कर्मा परिवार में विधानसभा सीट के लिए मां-बेटे के बीच होड़ की स्थिति बनी है। बेटे छविंद्र कर्मा के बाद मां और वर्तमान कांग्रेस विधायक देवती कर्मा ने भी शनिवार को नामांकन दाखिल किया। नामांकन दाखिले के बाद देवती कर्मा और विमल सुराना ने छविंद्र कर्मा को मना लेने की बात फिर से दोहराई।
उनका कहना है कि अभी नामांकन दाखिल हुआ है, वापसी की तारीख बची है। यदि छविंद्र ने नाम वापस नहीं लिया तो भी प्रचार मां के पक्ष में ही करेंगे। इसके लिए परिवार ही नहीं पार्टी के सभी सीनियर- जूनियर लीडर जुटे हैं। छविंद्र की प्रबल इच्छा है कि वे सक्रिय राजनीति और संवैधानिक पद पर रहकर पार्टी और क्षेत्र के लिए काम करें इसलिए दंतेवाड़ा सीट पर दावेदारी करते 17 अक्टूबर को अपनी मां से पहले आवेदन लिया और दूसरे दिन 18 अक्टूबर को नामांकन जमा भी कर दिया है। उनका कहना है कि किसी भी हाल में वे चुनावी मैदान से नहीं हटेंगे, चाहे निर्दलीय ही चुनाव क्यों न लड़ना पड़े। बता दे कि छविंद्र कर्मा को समाजवादी पार्टी ने अपना प्रत्याशी घोषित किया था लेकिन उन्होंने कहा कि दंतेवाड़ा की जनता चाहती है कि मैं किसी भी पार्टी से चुनाव न लड़ूं इसलिए समाजवादी पार्टी के टिकट को वापस देकर निर्दलीय चुनाव लड़ने का निर्णय लिया है।
दंतेवाड़ा विधानसभा के लिए शनिवार को तीसरा नामांकन सीपीआई प्रत्याशी नंदाराम सोरी ने दाखिल किया। नंदराम सोरी जनता कांग्रेस बसपा और सीपीआई गठबंधन के उम्मीदवार है लेकिन इन सब के बीच दिलचस्प घटना यह घटी की जनता कांग्रेस नेत्री जया कश्यप ने भी नामांकन दाखिल किया और सबको अचम्भित कर दिया अब ऐसे में बड़ा सवाल उठता है कि वह निर्दलीय चुनाव लड़ेंगी या फिर जोगी कांग्रेस उनको लेकर कोई बड़ा फैसला करती है। इन सब के अतिरिक्त भाजपा के भीमा मंडावी ने भी नामांकन दाखिल किया। इन सबके अतिरिक्त 5 अन्य उम्मीदवारों ने भी दंतेवाड़ा सीट से नामंकन दाखिल किया है।